ईद के दिन जोधपुर ने हिंसा देखी। वहां एसिड की बॉटल्स फेंकी गई, तलवारे लहराई गई, पुलिस बल पर पथराव हुआ, सांप्रदायिक झड़प हुई, दुकानों को आग लगा दिया गया।
जोधपुर की इस हिंसा के बाद बीजेपी सांसद राज्यवर्धन राठौर ने गहलोत की सरकार पर निशाना साधा और सी एम को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने कहा कि राज्य में आज जिस तरह का माहौल है उसके लिए सीएम अशोक गलहोत ही जिम्मेदार हैं. उनकी तुष्टिकरण की नीति की बदौलत एक समुदाय विशेष के हौसले बढ़ गए हैं और वह लगातार उपद्रव मचा रहा है. वह न लॉ एंड ऑर्डर संभाल पा रहे हैं न ही प्रदेश में बेसिक सुविधाओं को मैनेज कर पा रहे हैं।
उन्होंने गहलोत सरकार पर तुष्टिकरण की नीति और अलग अलग समुदाय के लिए अलग अलग नीति बनाने का आरोप लगाया। उन्होंने आरोप लगाया की राज्य सरकार एक तरफ राम दरबार गिरती है, राम नवमी की यात्रा पर रोक लगती है तो दूसरी तरफ रमजान के मौके पर बिजली से लेकर सुरक्षा तक का इंतजाम करती है।
राज्यवर्धन राठौर ने कहा कि करौली में हिंसा होती है. सीएम को इस हिंसा को लेकर पूरी जानकारी थी, उन्हें पता था कि हिंसा होगी, लेकिन फिर भी उन्होंने कुछ नहीं किया. हिंसा होने के बाद सीएम ने कहा कि, जय श्रीराम के नारे लगे, इसलिए हिंसा हुई. यह सरासर गलत है. इसका मतलब है कि आप दूसरे समुदाय को बचा रहे हैं और उनके हौसले बढ़ा रहे हैं. आपके ऐसा करने से वे आगे भी ऐसा करेंगे. एक मिनट को मान लिया कि करौली में जय श्रीराम के नारे की वजह से हिंसा हुई, लेकिन जोधपुर में कौन सा नारा लगा. वहां स्वतंत्रता सेनानी बालमुकुंद बिस्सा की प्रतिमा पर लगे झंडे को उतारने की क्या जरूरत थी. प्रदेश में तालिबान जैसा माहौल है।
दंगे के लिए कांग्रेस द्वारा बीजेपी को जिम्मेदार ठहराने के सवाल पर उन्होंने कहा कि, कांग्रेस सिर्फ आरोप लगा सकती है. राजस्थान में सत्ता में कांग्रेस ही बैठी है.