New Delhi: अमेरिका ने शुक्रवार को ताइवान को 345 मिलियन डॉलर के सैन्य सहायता पैकेज देने की घोषणा की है। व्हाइट हाउस के एक बयान में ताइवान को सहायता प्रदान करने के लिए रक्षा विभाग की रक्षा सामग्री और सेवाओं और सैन्य शिक्षा और प्रशिक्षण के पैकेज की घोषणा की गई। ताइवान को चीन अपना प्रांत मानता है। वहीं यह देश खुद को एक आजाद मुल्क कहलाना पसंद करता है।
ताइवान को एक बार फिर अमेरिका का साथ मिला है। अमेरिका ने शुक्रवार को ताइवान को 345 मिलियन डॉलर के सैन्य सहायता पैकेज देने की घोषणा की है। व्हाइट हाउस के एक बयान में ताइवान को सहायता प्रदान करने के लिए “रक्षा विभाग की रक्षा सामग्री और सेवाओं, और सैन्य शिक्षा और प्रशिक्षण” के पैकेज की घोषणा की गई।
चीन, ताइवान और अमेरिका के बीच क्या है मामला?
ताइवान को चीन अपना प्रांत मानता है। वहीं, यह देश खुद को एक आजाद मुल्क कहलाना पसंद करता है। अमेरिका का मानना है कि चीन बलपूर्वक ताइवान पर कब्जा करने की कोशिश कर रहा है, जो बिल्कुल गलत है। इस देश में संविधान है और यहां पर एक चुनी हुई सरकार है। गौरतलब है कि दुनिया में सिर्फ 13 देश ही ताइवान को एक अलग संप्रभु और आजाद देश मानते हैं।